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75वीं अखिल भारतीय कॉमर्स कॉन्फ्रेंस पेसिफिक यूनिवर्सिटी में 18 से

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16 Oct 24
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75वीं अखिल भारतीय कॉमर्स कॉन्फ्रेंस पेसिफिक यूनिवर्सिटी में 18 से

उदयपुर। पेसिफिक विश्वविद्यालय और गोविंद गुरु ट्राइबल यूनिवर्सिटी के संयुक्त तत्वावधान में 75वीं ऑल इंडिया कॉमर्स कॉन्फ्रेंस 18,19 एवं 20 अक्टूबर को पेसिफिक विश्वविद्यालय में आयोजित की जाएगी। देश की स्वतंत्रता के सौ वर्ष पूरे होने यानि 2047 तक भारत विकसित राष्ट्र किस तरह बनेगा। विकसित भारत 2047 विषय पर देश भर के 400 से अधिक महाविद्यालयों व विश्वविद्यालयों के वाइस चांसलर, प्रोफेसर और रिसर्च स्कॉलर अपने शोध पत्रों का वाचन करेंगे। इस सम्मेलन में 2300 से अधिक शिक्षाविदों के 1008 शोध पत्र प्राप्त हुए हैं जिनका अलग- अलग सात सेशन में प्रस्तुतिकरण किया जाएगा। सम्मेलन के मुख्य वक्ता प्रोवोस्ट एंड डीन एनएमआइएमएस मुम्बई से प्रो. जस्टिन पॉल हैं। इन्हें दुनिया के कई देशों में विषय के अध्यापन का अनुभव है।

पेसिफिक समूह से राहुल अग्रवाल ने बताया कि कांफ्रेंस के दौरान राष्ट्रहित के विभिन्न आर्थिक, औद्योगिक एवं वित्तीय मुद्दों पर परिचर्चा होगी जिससे कि राष्ट्रीय विकास के लिए एक सुदृढ़ औद्योगिक एवं वाणिज्यिक नीति निर्माण में सहायता मिले तथा उद्योग जगत में आ रही समस्याओं के निदान के लिए भी उचित एवं अनुकूल सुझाव दिए जा सकेंगे। विकसित भारत की परिकल्पना को साकार करने की रणनीतियाँ बनाने में यह योगदान महत्वपूर्ण रहेगा।

कॉन्फ्रेंस सेक्रेटरी गोविंद गुरु ट्राइबल यूनिवर्सिटी, बांसवाड़ा के कुलपति प्रो. के.एस. ठाकुर ने बताया कि दक्षिण राजस्थान में होने वाली यह अब तक की सबसे बड़ी कॉमर्स कॉन्फ्रेंस है जिसका लाभ क्षेत्र के विभिन्न शोधार्थियों तथा विद्यार्थियों को व्यापक रूप से मिलेगाय उन्हें समसामयिक विषयों की गहन जानकारी तथ्यात्मक एवं तार्किक रूप से यहां मिलेगी।

पेसिफिक विश्व विद्यालय के प्रेसिडेंट प्रो. हेमंत कोठारी ने इसे विषय विशेषज्ञों एवं बुद्धिजीवियों का एक अनुपम सम्मेलन बताया जिसके माध्यम से डिजिटल युग में वाणिज्य और प्रबंधन शिक्षा के लिए रोडमैप विकसित करने और भारतीय ज्ञान परंपराओं के आधार पर प्रबंधन के भविष्य की संभावनाओं पर सार्थक परिचर्चा होगी। साथ ही उन्होंने कहा कि कांफ्रेंस में 2300 से ज्यादा विषय विशेषज्ञ भाग लेंगे, यह इस बात को प्रमाणित करता है कि इसमें नवाचार और विकास के कई और अनुपम विचार सामने आएंगे। विश्व में अस्थिरता, अनिश्चितता, जटिलता और अस्पष्टता के दौर में मानव संसाधन की बदलती भूमिका पर विशेष सत्र का आयोजन किया जा रहा है। वही दूसरी ओर आर्टिफिशियल इंटेलिजेन्स से संबंधित अवसरों और उससे जुड़ी चुनौतियों का अवलोकन भी राष्ट्रीय विकास के संदर्भ में किया जाएगा।

रजिस्ट्रार शरद कोठारी ने बताया कि डिजिटल तकनीक के वाणिज्यिक प्रयोगों, समेकित ग्रामीण विकास, क्लाउड अकाउंटिंग, डाटा एनालिसिस और नवाचार पूर्ण डिस्ट्रीब्यूशन तथा सप्लाई चौन मैनेजमेंट जैसे गंभीर और अति महत्वपूर्ण विषयों पर चर्चा इस कांफ्रेंस का मुख्य आकर्षण रहेगी।
इंडियन कॉमर्स एसोसिएशन के सभी पदाधिकारी भी इसमें भाग लेंगे। कॉन्फ्रेंस के दौरान ही आगामी एग्जीक्यूटिव काउंसिल के चुनाव भी होंगे साथ ही आगामी अकादमी सत्र के लिए कॉमर्स के क्षेत्र में शैक्षणिक व सह शैक्षणिक राष्ट्र स्तरीय गतिविधियों के संचालन पर विचार मंथन होगा।

कॉन्फ्रेंस कोर्डिनेटर डॉ. दिपिन माथुर ने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में विकास, रोजगार के अवसर और उद्यमिता को प्रोत्साहित करने के उपायों पर की गयी मौलिक शोध भी यहां प्रस्तुत की जावेंगी। प्रोफेसर सैमीउद्दीन की स्मृति में दिये जाने वाले आई.सी.ए. रिसर्च स्कॉलर पुरस्कार को लेकर भी शोधार्थियों में काफी उत्सुकता है।

कॉन्फ्रेंस समन्वयक डॉ. अनुराग मेहता ने कहा कि कॉन्फ्रेंस में हिस्सा ले रहे देश के तीन सौ शहरों से आए शिक्षाविद उदयपुर भ्रमण भी करेंगे। यह निःसंदेह उदयपुर को राष्ट्रीय पटल पर पर्यटन के क्षेत्र में अच्छी पहचान दिलाने में योगदान देगा तथा स्थानीय कारोबार में भी इससे वृद्धि होगी।

कॉन्फ्रेंस में भाग ले रहे द्वारा सभी रजिस्टर्ड शिक्षाविदों के तीन दिन तक ठहरने व भोजन की व्यवस्था के साथ ही सभी आगन्तुकों को एयरपोर्ट व रेलवे स्टेशन से लाने की व्यवस्था भी पेसिफिक विश्व विद्यालय द्वारा की गयी है


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